पुदीन हरा कैप्सूल और तरल के रूप में उपलब्ध है इसका उपयोग मुख्यः रूप से अपच, गैस, अम्लता ,पेट साफ ना होना, खट्टी डकार आना, और पेट में इन्फेक्शन के इलाज व रोकथाम के लिए किया जाता है। पुदीन हरा एक आयुर्वेदिक दवा है यह जेलेटिन से बानी होती है जिसका रंग हरा होता है ।क्युकी यह कैप्सूल हर्बल है व जड़ीबूटियों से निर्मित है इस लिए इसका 99 प्रतिसत कोई साइड इफ़ेक्ट नहीं है लेकिन कुछ मामलो में इसके सामान्य साइड इफ़ेक्ट देखे गए है जैसे सांस का फूलना और सर दर्द। पुदीन हरा कैप्सूल को दिन में दो बार गुनगुने पानी के साथ लेने की सलाह दी जाती है। पुदीन हरा मुख्य रूप से डाबर द्वारा निर्मित होता है।
Pudin Hara Details in Hindi
दवाई का नाम | पुदीन हरा कैप्सूल |
दवाई की संयोजन/साल्ट सामग्री | मेंथा पिपेरिटा, मेंथा स्पाइकाटा |
दवाई की उत्पादक कंपनी | डाबर इंडिया लिमिटेड |
दवाई की मूल्य दर | Rs. 29.00 for 10 Tablets |
इस मेडिकल आर्टिकल मैं पुदीन हरा कैप्सूल दवा के उपयोग, फायदे, साइड इफेक्ट्स, कीमत, खुराक, घटक एवं अन्य बातो के बारे मैं लिखा गया है । भारत मैं पुदीन हरा कैप्सूल बनाने वाली कंपनी का नाम डाबर इंडिया लिमिटेड है । पुदीन हरा कैप्सूल मुख्यतः मेंथा पिपेरिटा, मेंथा स्पाइकाटा से मिलकर बना है । भारत मैं पुदीन हरा कैप्सूला मेडिकल स्टोर्स पर Rs. 29.00 for 10 Tablets की दर से उपलब्ध है।
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Pudin Hara के उपयोग
पुदीन हारा जड़ी बूटियों के उपयोग से बनता है और पाचन विकारों को ठीक करने में बहुत सहायक होता है। पुदीन हारा के उपयोग इस प्रकार हैं –
- एसिडिटी और गैस से राहत
- अपच को ठीक करने में मददगार है
- पेट के संक्रमण में राहत देता है
- पेट दर्द का इलाज करता है
- माइक्रोबियल संक्रमण से बचाव
- ऑक्सीडेटिव तनाव का इलाज करता है
Pudin Hara की सामान्य डोज / खुराक
पुदीन हारा कैप्सूल और लिक्विड दोनों के रूप में आता है। इसे या तो भोजन से पहले या भोजन के बाद लिया जा सकता है। पुदीन हारा टैबलेट को कुचला या चबाया नहीं जाना चाहिए। इसे सीधे पानी के साथ लेना चाहिए। आमतौर पर वयस्कों के लिए पुदीन हरा की 2 या 3 गोलियां प्रतिदिन लेने की सलाह दी जाती है। आमतौर पर वयस्कों के लिए प्रति दिन 1 या 2 टेबल स्पून पुदीन हरा सिरप लेने की सलाह दी जाती है।
Pudin Hara कंपोजिशन / संयोजन / सामग्री
पुदीन हारा दो जड़ी बूटियों का उपयोग करके बनता है जो विभिन्न पाचन विकारों के इलाज के लिए सहायक होते हैं। ये जड़ी-बूटियाँ हैं
- मेंथा पिपेरिटा – यह जल-पुदीना और पुदीना को मिलाकर बनाया गया है। यह शरीर में ताजगी प्रदान करता है
- मेंथा स्पाइकाटा – यह आम पुदीने का वैज्ञानिक नाम है जिसका उपयोग विभिन्न पाचन विकारों और अन्य बीमारियों के इलाज के लिए किया जाता है
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Pudin Hara के साइड इफेक्ट्स
पुदीन हारा एक आयुर्वेदिक दवा है जो मेंथे पिपेरिटा और मेंथे स्पाइकाटा जैसी जड़ी-बूटियों के मिश्रण से बनती है जो हमारे पाचन तंत्र को बढ़ावा देने के लिए उपयोगी हैं। पुदीन हारा जड़ी-बूटियों से बनने के कारण इसका कोई ज्ञात दुष्प्रभाव नहीं है। हालांकि कुछ रोगियों ने पुदीन हारा का सेवन करने के बाद सिरदर्द, चक्कर आना और बार-बार डकार आने की सूचना दी है। लेकिन यह प्राकृतिक अवयवों से बना है इसलिए पुदीन हारा का उपयोग करना 100% सुरक्षित है।
Pudin Hara सम्बंधित सावधानियां और चेतावनी
इस दवा का सेवन करते समय हमेशा अपने डॉक्टर की सलाह का पालन करें। अपने चिकित्सक को अपने चिकित्सा इतिहास और एलर्जी के बारे में बताएं। इस दवा के ओवरडोज से बचें। पुदीन हारा अधिकांश रोगियों के लिए उपयोग करने के लिए काफी सुरक्षित है। पुदीन हारा का प्रयोग करते समय कुछ सावधानियां बरतनी चाहिए –
- बच्चे: 12 साल से कम उम्र के बच्चों के लिए पुदीन हारा की सिफारिश नहीं की जाती है। पुदीन हरा को बच्चों की पहुंच से दूर रखें।
- गर्भावस्था – गर्भावस्था के दौरान बहुत अधिक पुदीना लेने की सलाह नहीं दी जाती है। पुदीन हारा में पुदीना होता है, कृपया अपने डॉक्टर से सलाह लें।
- गुर्दा – पुदीन हारा की अधिक मात्रा गुर्दे को नुकसान पहुंचा सकती है, कृपया अधिक मात्रा में या पुदीन हारा के उपयोग से बचें यदि आप किसी गुर्दे की बीमारी से पीड़ित हैं
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